नई दिल्ली। बुकिंग नहीं होने के कारण एक नन्ही जान ने दुनिया मे आने से पहले ही माँ के पेट मे ही दम तोड़ दिया। महिला डॉक्टर ने कहा- मरीज की मौत पर ही ऑपरेशन कर सकती हैं। दरअसल, बिहार पश्चिमी चंपारण की 28 वर्षीय किरण देवी को सांस लेने मे तकलीफ होने पर 8 जून रात करीब 11:15 बजे एम्स की ईमरजेंसी मे लाया गया। कोर्डियोलोजिस्ट ने चेकअप के बाद गायनेकोलोजिस्ट डॉक्टर को बुलाने की सलाह दी। रात करीब साढ़े 12 बजे गायनेकोजिस्ट को कॉल किया गया। रात करीब 2 बजे गर्भवती को कार्डियक अरेस्ट हुआ। बच्चे कि धड़कन बंद हो गई। इसके बाद गायनेकोलोजिस्ट चली गई। डॉक्टर ने जाने से पहले लिखा कि मैंने मरीज कों 2 बजे देखा, तब तक बच्चा मर चुका था। वही शिकायत मे कहा गया कि डॉक्टर झूठ बोल रही हैं अगर मरीज को भर्ती कर लिया जाता तो बच्चा बच सकता था।
डॉ॰ रणदीप गुलेरिया, डायरेक्टर, एम्स - चार डॉक्टरो की जांच कमेटी देखेगी कि वास्तव मे मरीज को इमरजेंसी थी या नहीं। अगर इमरजेंसी के बावजूद इलाज से इंकार किया हैं तो दोषी पर कार्रवाई कि जाएगी। हालांकि, एम्स का नियम है कि प्रेग्नेंसी के मामले मे इमरजेंसी मे सिर्फ पहले से बुकिंग वाले गंभीर मरीजो को ही देखा जाता हैं।