भोपाल : 26/08/2023 : शैक्षणिक संस्थाओं तक विशेष रूप से ग्रामीण क्षेत्र में मौजूद यूनिवर्सिटी और शिक्षण संस्थाओं तक लो फ्लोर बसो को वर्ष 2022 में शुरू किया गया था | उस समय शैक्षणिक संस्थाओं का दायरा 20 किमी तक था, जो अब बढ़कर 25 किमी हो गया है | इसलिए रूट पर चलने वाली बसों के ऑपरेटरों ने लो फ्लोर बसों का विरोध करते हुए बराबर टैक्स लिए जाने की मांग परिवहन मंत्री व विभागीय अधिकारियों से की थी | इसको देखते हुए 31 अगस्त तक करीब 112 बसों के परमिट लैप्स हो रहे हैं | यह रिन्यूवल नहीं हुए तो बसें एक सितंबर तक बंद हो जाएंगी | ये वह बसें हैं जो, नगरीय सीमा क्षेत्र की शिक्षण संस्थाओं तक आवागमन करती हैं | बसें बंद होने का सीधा असर स्टूडेंट्स पर पड़ेगा | अब तक इन बसों पर तीन महीने में एक बार 3600 रुपए टैक्स लगता है | यदि रूट परमिट के हिसाब से इन पर टैक्स लगाया गया तो यह हर महीने का 10 हज़ार 300 रु. हो जाएगा | इस तरह भारी टैक्स की मार इन लो फ्लोर बसों के संचालकों पर पड़ेगी | ऐसी स्थिति में वह इन बसों का संचालन बंद कर देंगे | अब टैक्स भी नगरीय सीमा के अनुसार लेने की मांग हो रही है, इस पर शासन स्तर पर निर्णय होगा |
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